har andhere ke peechhe he yah hai bombay town

Title:har andhere ke peechhe he yah hai bombay town Movie:Supari Singer:Kay Kay Music:Sandesh Shandilya Lyricist:Javed Akhtar

English Text
देवलिपि


हर अन्धेरे के पीछे इक सवेरा यहाँ
हर सवेरे के पीछे एक अन्धेरा यहाँ
है समन्दर किनारे शहर यूँ तो बसा
ख़ुद भी जैसे समन्दर शहर है लग रहा
शहर है एक समन्दर जैसे हालात का
शहर है एक समन्दर कितने जज़्बात का
आँसुओं की हैं मौजें मुश्क़िलों के भँवर
जो नहीं तैर पाया रह गया डूब कर
तूफ़ानी शहर है हर पल एक लहर है अमृत है ज़हर है
मौत भी दे जीवन बिहि दे
हे ये है bombay town-२
bombayये है bombay town
हे ये है bombay town

कोई देखे जिधर भी कितने इन्सान हैं
और सब के दिलों में कितने अरमान हैं
कितने ग़म और ख़ुशियाँ पल रहे हैं यहाँ
लोग ख़्वाबों के पीछे चल रहे हैं यहाँ
ठोकरें खा रहे हैं अब इधर अब उधर
इक इन्सानी जंगल जैसे है ये नगर
तूफ़ानी शहर है हर पल एक लहर है अमृत है ज़हर है
मौत भी दे जीवन भी दे
हे ये है bombay town-२
bombayये है bombay town
हे ये है bombay town

शाम है ना सवेरा दिन है ना रात है
जाने कैसा ये पल है जाने क्या बात है
कह रही हैं ये राहें कोई खोने को है
कह रही हैं हवायें कुछ तो होने को है
ग़म का लवा समेटे दिल है कब से दुखी
फटने वाला है देखो अब ये ज्वालामुखी
तूफ़ान
तूफ़ानी शहर है
तूफ़ान
हर पल एक लहर है
तूफ़ान
अमृत है ज़हर है
मौत भी दे जीवन भी दे
हे ये है bombay town-४
bombayये है bombay town-४
हे ये है bombay town-३
bombayये है bombay town
हे ये है bombay town